कसम

अपनी हसरत पर ही, मुझको रुलाने की कसम,
दिल ने खाई है मुझे खाक बनाने की कसम।

कुछ और अगर हो तो सितम कीजिये मुझपर,
खुद को तेरे ही हाथों से मिटाने की कसम,
दिल ने खाई है मुझे खाक बनाने की कसम।

जिंदगी तुझसे जुदा होकार जीना कैसा,
तेरे बगैर ही खुद को जिलाने की कसम
दिल ने खाई है मुझे खाक बनाने की कसम।

हाल पूछा सभी से, मुझसे मुंह फेर लिया,
हमें है हाल-ए-दिल किसी को न बताने की कसम,
दिल ने खाई है मुझे खाक बनाने की कसम।

तेरी कसमो की जंजीर में बंधा सा ये दिल,
तेरी कसमो पर खुद को लुटाने की कसम।
दिल ने खाई है मुझे खाक बनाने की कसम।

सारी खुशियां मुबारक हो जहां भर की तुझे,
तेरे दर पर फिर न लौट आने की कसम,
दिल ने खाई है मुझे खाक बनाने की कसम।

अप्रेल, 1998

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